Homeरोजगारआईटी सेक्टर में इस साल पैदा हो सकती हैं 4.5 लाख से...

आईटी सेक्टर में इस साल पैदा हो सकती हैं 4.5 लाख से अधिक नौकरियां

नई दिल्ली: भारत के आईटी सेक्टर में भर्तियों में 2025 की पहली छमाही में 7 से 10 प्रतिशत की बढ़ोतरी हो सकती है। इसके अलावा, सेक्टर पूरे साल में 4 से 4.5 लाख नई नौकरियां पैदा कर सकता है। यह जानकारी इंडस्ट्री एक्सपर्ट्स ने शुक्रवार को दी। 

भारत के आईटी सेक्टर में वित्त वर्ष 25 की चौथी तिमाही में स्थिरता देखी गई थी और आय में सालाना आधार पर 1-3 प्रतिशत का इजाफा हुआ था, जो प्लान के मुताबिक विस्तार और वैश्विक प्राथमिकता में बदलाव की ओर इशारा करता है।

फर्स्टमेरिडियन बिजनेस सर्विसेज के सीईओ-आईटी स्टाफिंग, सुनील नेहरा ने कहा, “यह दर्शाता है कि कंपनियां ग्लोबल टेक्नोलॉजी इन्वेस्टमेंट्स के लिए अधिक टारगेटेड एप्रोच अपना रही हैं, लेकिन डिजिटल ट्रांसफॉर्मेशन अभी भी जारी है।”

रिपोर्ट में क्या पता चला?

रिपोर्ट में बताया गया कि एआई/एमएल, क्लाउड कम्प्यूटिंग, डेटा इंजीनियरिंग और ऑटोमेशन आदि में लगातार निवेश हो रहा है, जो कि उभरती हुई टेक्नोलॉजी में विश्वास को दिखाता है। इसका असर भर्तियों पर भी देखने को मिलता है। 

नेहरा ने कहा कि भारत के विभिन्न क्षेत्रों में भर्ती में धीरे-धीरे तेजी आएगी। वित्त वर्ष 26 में फ्रेशर्स के लिए हायरिंग सेंटीमेंट सकारात्मक रहा है, जो एंट्री-लेवल नौकरियों की मजबूत मांग को दिखाता है। 

वैश्विक अनिश्चितताओं के बीच वित्त वर्ष 25 में भारतीय आईटी फर्म में रिकवरी देखने को मिली, जबकि वित्त वर्ष 24 में हेडकाउंट में गिरावट देखने को मिली थी।

एनएलबी सर्विसेज के सीईओ सचिन अलुग के अनुसार, पूरी इंडस्ट्री में नौकरी छोड़ने की दर औसत 13-15 प्रतिशत की दर पर स्थिर हो गई है, जो एक अधिक संतुलित लेकिन विकसित टैलेंट लैंडस्केप का संकेत है।

फ्रेशर्स की हो सकती है भर्ती

उन्होंने कहा, “कई कंपनियों ने वित्त वर्ष 26 में 10,000 से अधिक फ्रेशर्स को शामिल करने की योजना की भी घोषणा की है, जो छोटी अवधि में चुनौतियों के बावजूद लंबी अवधि में आत्मविश्वास का संकेत है।”

रिपोर्ट में बताया गया कि बड़ा निवेश एआई और जनरेटिव एआई में किया जा रहा है, जिसे सर्विस लाइनों में बड़े पैमाने पर अपस्किलिंग द्वारा सपोर्ट किया जा रहा है। वहीं, क्लाउड आधुनिकीकरण, साइबर सुरक्षा और डेटा इंजीनियरिंग मुख्य क्षमताएं बनी हुई हैं।

अलुग ने कहा, “एआई/एमएल इंजीनियर, डेटा साइंटिस्ट, क्लाउड आर्किटेक्ट, डेवऑप्स इंजीनियर और ईएसजी एनालिस्ट जैसी भूमिकाओं की मांग काफी अधिक है और इन पदों पर सामान्य की तुलना में 8-10 प्रतिशत वेतन अधिक मिलता है।”

(यह खबर आईएएनएस समाचार एजेंसी की फीड द्वारा प्रकाशित है। इसका शीर्षक बोले भारत न्यूज डेस्क द्वारा दिया गया है।)

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here

Recent Comments

मनोज मोहन on कहानीः याद 
प्रकाश on कहानीः याद 
योगेंद्र आहूजा on कहानीः याद 
प्रज्ञा विश्नोई on कहानीः याद 
डॉ उर्वशी on एक जासूसी कथा
Exit mobile version