Homeभारतइंफोसिस के को-फाउंडर समेत 18 लोगों पर एससी/एसटी एक्ट में मामला दर्ज

इंफोसिस के को-फाउंडर समेत 18 लोगों पर एससी/एसटी एक्ट में मामला दर्ज

बेंगलुरुः इंफोसिस के को-फाउंडर सेनापति क्रिस गोपालकृष्णन और इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ साइंस के डायरेक्टर बलराम पी समेत 16 अन्य लोगों के खिलाफ बेंगलुरु पुलिस ने मामला दर्ज किया है।

इन लोगों के खिलाफ एससी/एसटी एक्ट के तहत मामला दर्ज किया गया है। यह शिकायत आईआईएससी के एक पूर्व सदस्य ने दर्ज कराई है। मामला 71वें सिटी सिविल और सेशन कोर्ट के निर्देश पर सदाशिव नगर थाने में दर्ज किया गया था। शिकायतकर्ता आईआईएससी के पूर्व सहायक प्रोफेसर सन्ना दुर्गप्पा ने दर्ज कराई थी। वह बोवी समुदाय से आते हैं।

उन्होंने यह आरोप लगाया कि साल 2014 में उन्हें हनी ट्रैप के एक झूठे मामले में फंसाया गया था। इस वजह से उन्हें आईआईएससी से बर्खास्त भी किया गया था। दुर्गप्पा ने आरोप लगाया कि न्यासी बोर्ड में क्रिस गोपालकृष्णन सदस्य के रूप में कार्यरत हैं। इसके साथ ही उन्होंने जातिगत दुर्भाव के साथ-साथ धमकी देने का भी आरोप लगाया।

शिकायतकर्ता ने क्या आरोप लगाए?

अदालत में दुर्गप्पा द्वारा दायर की गई याचिका में यह कहा गया है कि उन पर एक शादीशुदा महिला को ‘सुंदर’ कहने का आरोप है। इस मामले में महिला ने यौन उत्पीड़न शिकायत समिति में शिकायत भी दर्ज कराई थी।

इस शिकायत के आधार पर ही दुर्गप्पा की नौकरी चली गई थी। समिति में दर्ज की गई शिकायत में यह फैसला निकला कि यह शब्द (सुंदर) यौन उत्पीड़न को आमंत्रित करता है। इसके आधार पर ही दुर्गप्पा को नौकरी से हाथ धोना पड़ा।

समिति में नहीं है एनजीओ प्रतिनिधि

दुर्गप्पा ने कहा कि उच्चतम न्यायालय की गाइडलाइंस के आधार पर एचएससीसी में एक एनजीओ का प्रतिनिधि होना चाहिए। दुर्गप्पा का कहना है कि इस समिति में ऐसा कोई सदस्य नहीं था। दुर्गप्पा ने इस मामले में साल 2017 में कर्नाटक विधानसभा एससी/एसटी समिति से भी जांच का अनुरोध किया था।

इसकी जांच की रिपोर्ट एक महीने बाद आई जिसमें कहा गया था कि यौन उत्पीड़न नहीं हुआ है। दुर्गप्पा ने कहा उन्हें सिर्फ इस वजह से बाहर कर दिया गया क्योंकि वह दलित हैं।

हालांकि अब तक इस मामले में आईआईएससी और क्रिस गोपालकृष्णन या फिर अन्य लोगों की तरफ से कोई प्रतिक्रिया नहीं आई है।

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here

Recent Comments

मनोज मोहन on कहानीः याद 
प्रकाश on कहानीः याद 
योगेंद्र आहूजा on कहानीः याद 
प्रज्ञा विश्नोई on कहानीः याद 
डॉ उर्वशी on एक जासूसी कथा
Exit mobile version