हैदराबाद: तेलुगू फिल्म अभिनेता श्रीकांत कृष्णास्वामी अय्यंगार पर महात्मा गांधी के खिलाफ आपत्तिजनक टिप्पणी करने का आरोप लगा है। कांग्रेस एमएलसी बालमूर वेंकट ने शनिवार को हैदराबाद साइबर क्राइम पुलिस में उनके खिलाफ औपचारिक शिकायत दर्ज कराई।
यह विवाद तब शुरू हुआ जब अय्यंगार ने अपने एक्स अकाउंट पर एक वीडियो पोस्ट किया, जिसमें उन्होंने महात्मा गांधी को राष्ट्रपिता कहे जाने पर सवाल उठाया और नाथूराम गोडसे की प्रशंसा की। वीडियो में एक्टर ने कथित तौर पर गांधीजी के लिए अपमानजनक शब्दों का इस्तेमाल किया था, जिसका वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हुआ।
अय्यंगार को यह कहते हुए भी सुना गया है कि गोडसे एक एंटीबायोटिक की तरह थे जिसने एक परजीवी को हटा दिया। वीडियो के वायरल होने के बाद तेलंगाना में राजनीतिक और सामाजिक संगठनों ने इसे बेहद अपमानजनक और अशोभनीय बताया। गांधी समर्थकों और नागरिक समूहों ने कहा कि इस तरह की टिप्पणियां स्वतंत्रता आंदोलन और राष्ट्रीय मूल्यों का अपमान हैं।
कांग्रेस ने की कड़ी कार्रवाई की मांग
कांग्रेस एमएलसी बालमूर वेंकट ने साइबर क्राइम पुलिस से अभिनेता के खिलाफ आपराधिक मामला दर्ज करने का आग्रह किया है और तेलुगु फिल्म इंडस्ट्री से इस मुद्दे पर स्पष्ट रुख अपनाने की मांग की है।
वेंकट ने एक्स पर एक पोस्ट में कहा कि ‘अभिनेता श्रीकांत अय्यंगर द्वारा महात्मा गांधी पर की गई टिप्पणी न केवल अस्वीकार्य है बल्कि बेहद अपमानजनक भी है। इस तरह की भाषा किसी सभ्य समाज या ज़िम्मेदार नागरिक के आचरण से मेल नहीं खाती। अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता का अपना महत्व है, लेकिन उसके साथ मर्यादा और जिम्मेदारी भी जुड़ी होती है। स्वतंत्रता का अर्थ यह नहीं कि किसी महान व्यक्तित्व का अपमान किया जाए।’
उन्होंने आगे कहा, ‘महात्मा गांधी ने अहिंसा और सत्य के मार्ग से देश को आज़ादी दिलाने में निर्णायक भूमिका निभाई। उनकी सबसे बड़ी सफलता समाज के विभिन्न वर्गों को एकजुट करना थी। वे केवल एक नेता नहीं, बल्कि भारत की आत्मा के प्रतीक थे। किसी को सामाजिक पहचान या लोकप्रियता मिले तो उसके साथ विनम्रता और उत्तरदायित्व भी होना चाहिए, न कि अहंकार। सोशल मीडिया पर अनुयायी होना महानता का प्रमाण नहीं, बल्कि लोगों के विश्वास और स्नेह का संकेत है।’
कांग्रेस नेता ने कहा, श्रीकांत अय्यंगर की टिप्पणी ने न सिर्फ गांधी जी के अनुयायियों, बल्कि हर संवेदनशील भारतीय की भावनाओं को ठेस पहुंचाई है। यह हमारे सांस्कृतिक मूल्यों और सामाजिक शिष्टाचार के विपरीत है। केवल भारत शब्द अपने नाम में जोड़ लेने से कोई देशभक्त नहीं बन जाता। सच्ची देशभक्ति गांधी जी के आदर्शों को समझने और सम्मान देने में है।
कांग्रेस नेता ने तेलुगु फिल्म इंडस्ट्री की चुप्पी की भी निंदी की। उन्होंने लिखा कि भारत की आजीदी केवल गांधी जी के कारण नहीं, बल्कि उनके एकजुट करने वाले नेतृत्व के कारण संभव हुई। वे हमारे राष्ट्रपिता हैं, जिन्होंने सत्य और अहिंसा को जीवन का आधार बनाया। फिल्म उद्योग को भी अपनी सामाजिक और नैतिक जिम्मेदारी समझनी चाहिए। ऐसे विभाजनकारी या अपमानजनक रुख वाले व्यक्तियों को प्रोत्साहन नहीं मिलना चाहिए। हम फिल्म जगत से अपील करते हैं कि वे श्रीकांत अय्यंगर के इस असंवेदनशील और अनुचित बयान की निंदा करें और आवश्यक अनुशासनात्मक कार्रवाई करें। यदि वे चुप रहते हैं, तो यह मौन भी ऐसे अनुचित आचरण को बढ़ावा देने के समान होगा।
वेंकट ने मांग की है कि यदि अय्यंगर अपनी टिप्पणियों के लिए माफी नहीं मांगते हैं, तो उन्हें तेलुगु फिल्म संघों से निलंबित किया जाए या आगामी परियोजनाओं से प्रतिबंधित किया जाए। उन्होंने जोर देकर कहा कि उद्योग निकायों की जिम्मेदारी है कि वे “राष्ट्रपिता” को अपमानित करने वाले बयानों की निंदा करें और ऐसे व्यक्तियों से दूरी बनाए रखें।
तेलंगाना के राजनीतिक हस्तियों और कार्यकर्ताओं ने अधिकारियों से इस मामले का संज्ञान लेने का आग्रह किया है, इन बयानों को एक श्रद्धेय राष्ट्रीय नेता को बदनाम करने का प्रयास बताया गया है।
अभिनेता श्रीकांत अयंगर या उनके प्रतिनिधियों ने अभी तक कोई सार्वजनिक प्रतिक्रिया जारी नहीं की है। अधिकारियों ने भी अभी तक यह पुष्टि नहीं की है कि कोई कानूनी कार्रवाई शुरू की गई है या नहीं।